गौठान को लिया गोद, बेसहारा मवेशियों को मिला नया ठिकाना
आशु वर्मा / ब्यूरो चीफ, तिल्दा-नेवरा
तिल्दा-नेवरा। क्षेत्र में संचालित बाबा वैद्यनाथ इस्पात उद्योग ने एक सराहनीय पहल करते हुए बेसहारा मवेशियों की सुरक्षा और देखभाल के लिए ग्राम पंचायत ताराशिव के गौठान को गोद लिया है। इस प्रयास को न केवल सड़क दुर्घटनाओं में कमी लाने वाला कदम माना जा रहा है, बल्कि यह गौसेवा और सामाजिक उत्तरदायित्व का भी एक उत्कृष्ट उदाहरण बन चुका है।
बता दें कि बीते कुछ समय से मवेशियों के खुले में घूमने और सड़क पर डेरा जमाने की वजह से दुर्घटनाओं में बढ़ोतरी हो रही थी। ग्राम पंचायत ताराशिव की सरपंच पूर्णिमा मनीष वर्मा ने इस समस्या को गंभीरता से लेते हुए बाबा वैद्यनाथ इस्पात संयंत्र के प्रबंधक से संपर्क साधा और गौठान योजना के पुनर्जीवन का प्रस्ताव रखा।
पूर्ववर्ती भूपेश बघेल सरकार की गौठान योजना के माध्यम से मवेशियों के लिए चारा, पानी और सुरक्षित ठिकाने की व्यवस्था की गई थी, लेकिन वर्तमान शासन में इस योजना के प्रभाव में कमी आने से बेसहारा मवेशियों की स्थिति फिर से चिंताजनक हो गई थी। इस समस्या के समाधान के लिए संयंत्र प्रबंधन ने सकारात्मक रुख अपनाते हुए 10 लाख रुपये की लागत से शेड निर्माण कर मवेशियों की देखरेख की जिम्मेदारी ली है।
इस पहल की प्रशंसा करते हुए तिल्दा जनपद अध्यक्ष टिकेश्वर सोनू मनहरे ने संयंत्र प्रबंधन को शुभकामनाएं दीं। वहीं शेड निर्माण कार्य के पूर्ण होने के बाद ग्राम पंचायत सरपंच, स्थानीय जनप्रतिनिधियों व ग्रामीणों की उपस्थिति में विधिवत पूजा कर कार्यक्रम को संपन्न किया गया।
इस अवसर पर गांववासियों ने बाबा वैद्यनाथ इस्पात उद्योग के प्रति आभार व्यक्त करते हुए कहा कि इस तरह की पहलें समाज में सकारात्मक बदलाव लाने वाली होती हैं।
गौसेवा ही सच्ची सेवा है – इस विचार को साकार करते हुए संयंत्र ने जो उदाहरण प्रस्तुत किया है, वह अन्य औद्योगिक इकाइयों के लिए भी प्रेरणास्रोत बन सकता है।
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