डॉग स्क्वाड, कॉल डिटेल और लास्ट सीन थ्योरी ने सुलझाई हत्या की गुत्थी
सूरजपुर।
माननीय तृतीय अपर सत्र न्यायाधीश सूरजपुर श्री डायमंड कुमार गिलहरे की अदालत ने अंधे कत्ल के आरोपियों — लक्ष्मी देवांगन और रामकुमार केंवट — को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है। साथ ही दोनों पर ₹10-10 हजार का अर्थदंड भी लगाया गया है।
मामला ग्राम नमदगिरी का है, जहां 2 जनवरी 2024 को सुनील देवांगन रहस्यमय ढंग से गायब हो गया था। अगले दिन उसका शव खेत में मिला। प्रथम दृष्टया यह अंधा कत्ल लग रहा था। पुलिस ने मामला दर्ज कर जांच शुरू की।
जांच में सामने आए अहम सुराग
थाना प्रभारी विमलेश दुबे के नेतृत्व में की गई विवेचना में डॉग स्क्वाड की मदद ली गई। डॉग मास्टर द्वारा मृतक के कमरे से मृतक की पत्नी लक्ष्मी देवांगन की ओर इशारा किए जाने पर शक की सुई उसकी ओर घूमी।
मुखबिरों से मिली सूचना के अनुसार लक्ष्मी देवांगन के रामकुमार केंवट के साथ अवैध संबंध थे। पूछताछ में लक्ष्मी ने अपराध स्वीकार किया कि पति के शक और विवाद के चलते उसने रामकुमार के साथ मिलकर हत्या की योजना बनाई। दोनों ने मिलकर गमछे से सुनील का गला दबाकर हत्या कर दी और शव खेत में फेंक दिया।
मजबूत साक्ष्यों से सजा तय
फॉरेंसिक सबूतों, कॉल डिटेल और लास्ट सीन थ्योरी के आधार पर दोनों आरोपियों पर अपराध सिद्ध हुआ।
अपर लोक अभियोजक के.के. नाविक ने न्यायालय में पक्ष रखा।
न्यायालय का फैसला
दोनों आरोपियों — रामकुमार केंवट (32 वर्ष) और लक्ष्मी देवांगन (28 वर्ष) — को
- धारा 302/34 भादवि के तहत आजीवन कारावास व ₹10,000 अर्थदंड
- धारा 201/34 भादवि के तहत दो वर्ष सश्रम कारावास व ₹10,000 अर्थदंड
की सजा सुनाई गई।
